मैं आपको रोमांटिक, प्रेमपूर्ण या श्रृंगार रस से भरी chudai shayari hindi me पेश कर रहहु
जो सुंदर और भावपूर्ण है
चुदाई की रातें बिताऊँगा तेरे साथ
तेरी आँखों की चमक में खोया हूँ मैं।

चुदाई की आग में जलें दोनों यार
होंठों से होंठ मिलाकर कर लें प्यार।

चुदाई में डूब जाएँ रात भर की रानी
तेरी कमर लचकती है जैसे साँपिनी।
चुदाई की बाढ़ में बहा ले मुझे
उफ़नती जवानी तेरी मचल रही है।
चुदाई की मस्ती में कर दूँ तुझे फन
तेरे स्तनों की गोलाई में खोया मन।
चुदाई की धुन में नाचें दोनों बेकरार
चूत की गहराई में डूबा लंड मेरा।
चुदाई का मजा लें बिना थके यार
तेरी चीखें गूँजें कमरे में रात भर।
चुदाई की लय में खो जाएँ हम दोनों
पसीने से तर बदन तेरा चिपके मुझसे।
chudai shayari in hindi mai
चुदाई की खुशी में झूमें रात भर
लंड की ठंडक तेरी चूत में समाए।
चुदाई का नशा चढ़े बिना रुके कहीं
तेरी गांड की मस्ती में खोया रहूँ।
चुदाई में डूबें जैसे समंदर की लहर।
होंठ चूसकर कर लूँ तेरी चूत को गीला,
चुदाई की आग में जलें दोनों मिलें।
तेरी उँगलियाँ मेरे लंड पर फिसलें,
चुदाई का खेल खेलें बिना रुकें।
रात की सन्नाटे में तेरी आहें गूँजें,
चुदाई की रात में बनें दोनों बेकाबू।
तेरे निप्पल चबाकर कर दूँ तुझे पागल,
फिर सुबह उठकर दोहराऊँ वो मज़ा सारा।
चुदाई के बाद तेरी बाहों में सोऊँ,
Chut Shayari in hindi
चुदाई की रातें चूत की गहराई में बिताऊँगा।
तेरी आँखों की चमक में डूबा लंड मेरा,
चुदाई की आग में लंड से जलाएँ दोनों।
होंठों से चूसकर चूत को कर लें गीला,
गांड मारकर डालूँ लंड रात भर की रानी।
तेरी कमर लचकती साँपिनी सी चुदाई में,
चुदाई की बाढ़ में बहा लूँ रस की धार।
उफनती चूत तेरी मचल रही लंड को,
चुदाई की मस्ती में चूत फाड़ दूँ फन से।
तेरे स्तनों की गोलाई चूसूँ दाँतों से,
चुदाई की धुन में नाचें आहें बेकरार।
चूत की गहराई में ठोंकूँ लंड जोरों से,
चुदाई का मजा लें झड़ते रहें रात भर।
तेरी चीखें गूँजें कमरे में लंड की मार से,
चुदाई की लय में ठोंकें हम दोनों पागल।
पसीने से तर चूत चिपके लंड से मेरे,
चुदाई की खुशी में चरम पर झूमें रात।
लंड की गरमी चूत में समाए जोर से,
चुदाई का नशा चढ़े झड़न तक बिना रुके।
तेरी गांड की टाइटnesi में डूबा लंड,
चुदाई में डूबें लंड की लहरों में।
होंठ चूसकर चूत को रस से भर दूँ,
चुदाई की आग में चूत ठोंककर जलाएँ।
तेरी उँगलियाँ लंड पर फिसलें गीली होकर,
चुदाई का खेल लंड से खेलें बिना थके।
रात की सन्नाटे में चूत की आहें चीखें,
चुदाई की रात में लंड से बनें बेकाबू।
निप्पल चबाकर चूत को पागल कर दूँ,
सुबह उठकर लंड फिर ठोंकूँ वो गीला मज़ा।
चुदाई के बाद चूत से रस चाटकर सोऊँ,
ap co ye shayari pasand aye to facebook par share jarur kare